Loan Default: इस तरह लोन आजकल नहीं चुकाते है! और टेंशन भी नहीं लेते है!

Loan Default: क्या आप लोन चुकाने में असमर्थ हैं और फर्जी रिकवरी एजेंट्स से परेशान हैं? दिनभर में दर्जनों कॉल्स, पुलिस केस की धमकी, और परिवार को परेशान करने वाले ये लोग आपको मानसिक तनाव में डाल सकते हैं। लेकिन 2024 में, अब डरने की जरूरत नहीं है। यह लेख आपको अपने अधिकारों के बारे में जागरूक करेगा, बताएगा कि फर्जी रिकवरी एजेंट्स से कैसे निपटना है, और आपको मानसिक शांति का रास्ता दिखाएगा।


लोन डिफॉल्ट पर सामान्य समस्याएं और डर

समस्याफर्जी रिकवरी एजेंट्स की रणनीतिआपका उपाय
दिनभर में 50-100 कॉल्सकॉल्स के जरिए मानसिक दबाव बनाना“नंबर नॉट इन फोनबुक” फीचर चालू करें।
पुलिस केस की धमकीफर्जी पुलिस बनकर गिरफ्तारी की धमकी देनापुलिस को 100 नंबर पर शिकायत करें।
परिवार और रिश्तेदारों को कॉल करनामोबाइल कॉन्टैक्ट्स का अवैध उपयोग करनाcybercrime.gov.in पर शिकायत करें।
ऊंची आवाज़ में बात करना और गाली देनासामाजिक प्रतिष्ठा को खराब करने का प्रयासवीडियो रिकॉर्ड करें और शिकायत दर्ज करें।

अपने अधिकार जानें और डर को खत्म करें

1. कॉल्स को हैंडल करने के तरीके

  • फोन उठाना जरूरी नहीं है:
    कोई कानून आपको रिकवरी एजेंट्स की कॉल का जवाब देने के लिए बाध्य नहीं करता।
  • स्पैम कॉल्स को ब्लॉक करें:
    अपने फोन में “नंबर नॉट इन फोनबुक” फीचर चालू करें। इससे केवल सेव नंबरों से कॉल आएगी।
  • दस्तावेज मांगें:
    अगर कोई एजेंट आपसे मिलने आता है, तो उसका डीआर (डिपॉजिटरी रिकवरी) लाइसेंस, आईडी कार्ड, और होम विजिट लेटर मांगें। बिना दस्तावेज वाले एजेंट से बात करने की जरूरत नहीं।

लोन डिफॉल्ट के बाद कानूनी प्रक्रिया

नोटिस का प्रकारइसमें क्या होता है?आपका कदम
डिमांड नोटिसलोन की पूरी राशि तुरंत जमा करने का अनुरोध।मेल या स्पीड पोस्ट के माध्यम से जवाब दें।
रिकॉल नोटिसकानूनी कार्रवाई की धमकी।सही तरीके से दस्तावेज बनाकर जवाब दें।
आर्बिट्रेशन नोटिसआपके केस को आर्बिट्रेशन प्रक्रिया में ले जाने की सूचना।ऑब्जेक्शन फाइल करें और आर्बिट्रेटर की नियुक्ति को चुनौती दें।
सेक्शन 138 (चेक बाउंस नोटिस)आपके चेक बाउंस होने पर केस करने की धमकी।तुरंत बेल प्राप्त करें और सही प्रक्रिया अपनाएं।

2. आर्बिट्रेशन नोटिस का सामना करें

  • आर्बिट्रेशन प्रक्रिया आपकी सहमति से होनी चाहिए।
  • ऑब्जेक्शन पत्र मेल या स्पीड पोस्ट से बैंक को भेजें।
  • आर्बिट्रेटर के चयन पर सवाल उठाएं और प्रक्रिया को चुनौती दें।

फर्जी रिकवरी एजेंट्स की रणनीति और उनका सामना कैसे करें

1. धमकियों को समझें और न डरें

  • रिकवरी एजेंट्स आपको गिरफ्तार करने या एफआईआर दर्ज कराने की धमकी देंगे।
  • सच्चाई यह है कि लोन डिफॉल्ट करना कोई आपराधिक मामला नहीं है।
  • अगर कोई एजेंट अधिक बदतमीजी करे, तो उसकी हरकतों को रिकॉर्ड करें और 100 नंबर पर कॉल कर पुलिस को सूचित करें।

2. परिवार और रिश्तेदारों को परेशान करने पर कार्रवाई करें

  • अगर कोई एजेंट आपके परिवार, रिश्तेदारों या परिचितों को परेशान करता है, तो इसकी शिकायत cybercrime.gov.in पर करें।
  • यह स्पष्ट करें कि लोन का मामला केवल आपकी जिम्मेदारी है, परिवार की नहीं।

लोन डिफॉल्ट का कानूनी समाधान

1. लोक अदालत में सेटलमेंट करें

लोक अदालत के जरिए बैंकों और NBFC के साथ समझौता करें। यह प्रक्रिया सस्ती और तेज होती है।

2. सेक्शन 25 और 138 मामलों में सुरक्षा

मामलाआपका अधिकारसमाधान
सेक्शन 25 (सेटलमेंट)सेटलमेंट के तहत तुरंत बेल प्राप्त करना।लोक अदालत या कोर्ट में समझौता करें।
सेक्शन 138 (चेक बाउंस)चेक बाउंस के मामलों में भी सेम-डे बेल की अनुमति।कोर्ट में पेश होकर कानूनी प्रक्रिया का पालन करें।

3. वकीलों की सहायता लें

अगर नोटिस या कानूनी प्रक्रिया को लेकर उलझन हो, तो किसी अनुभवी वकील की मदद लें। वे आपको सही रास्ता दिखा सकते हैं और फर्जी एजेंट्स से बचाव का उपाय बता सकते हैं।


निष्कर्ष

लोन डिफॉल्ट के डर से बाहर निकलने के लिए, अपने अधिकारों को जानना और सही कानूनी प्रक्रिया का पालन करना बेहद जरूरी है। फर्जी रिकवरी एजेंट्स और धमकियों का सामना करने के लिए आत्मविश्वास और जानकारी ही सबसे बड़ा हथियार है।

क्या आपने भी ऐसे फर्जी कॉल्स का सामना किया है? हमें कमेंट में बताएं। अगर आपको मदद चाहिए, तो विशेषज्ञों से संपर्क करें। जय हिंद, जय भारत!

Leave a comment